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रुस की सेना में फंसे भारतीय ने वीडियो में कहा- हमारे दल के 15 में से 13 मारे जा चुके हैं

मास्को। पीएम नरेंद्र मोदी विगत दिवस रूस के दौरे पर गए थे। मॉस्को में उन्होंने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से मुलाकात की। इस दौरान पीएम मोदी ने रूसी सेना में फंसे भारतीय नागरिकों का मुद्दा उठाया जिस पर पुतिन ने कहा कि रूस उन लोगों की भारत वापसी में मदद करेगा। पीएम की रूस यात्रा के बाद रूसी सेना के लिए लड़ रहे एक भारतीय नागरिक का वीडियो सामने आया है, जिसमें वह कह दिख रहा है कि उसके दल के 15 गैर रूसी सैनिकों में से सिर्फ दो ही जिंदा बचे हैं। उसे उम्मीद है कि पुतिन से पीएम मोदी की मुलाकात के बाद उसकी वतन वापसी हो पाएगी।

रूसी सेना से जिस भारतीय शख्स का वीडियो सामने आया है। उसका नाम उर्गेन तमांग है और वो पश्चिम बंगाल के कलिमपोंग का रहने वाला है। उसे धोखे से रूस ले जाया गया और सेना भी भर्ती करवा दिया और रुस-यूक्रेन युद्ध में झोंक दिया। उर्गेन ने बताया कि वह पिछले छह माह से रूसी सेना के लिए लड़ रहा है। एजेंटों ने उसे रूस में सुरक्षा गार्ड की नौकरी दिलवाने का वादा किया था लेकिन जब वो रूस पहुंचा तो उसे रूस-यूक्रेन की जंग में भेज दिया गया।

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कलिमपोंग के प्रधान ने बताया कि वह लगातार वॉटसएप के जरिए उर्गेन से बातचीत करते रहते हैं लेकिन हमें और उसके परिवार को पता भी नहीं है कि हम उर्गेन को फिर से देख पाएंगे या नहीं। कलिमपोंग नगरपालिका के अध्यक्ष रबी प्रधान से उनकी मदद की गुहार लगाई गई थी। प्रधान ने विदेश मंत्रालय से संपर्क किया और इस मामले को जरूरी मदद के लिए मॉस्को में भारतीय दूतावास के साथ उठाया गया है।

वीडियो मैसेज में उर्गेन ने कहा कि मैं रूस-यूक्रेन युद्ध में फंसा हूं। यहां 15 गैर-रूसी थे, लेकिन 13 मारे गए हैं। केवल दो बचे हैं मैं और श्रीलंका का एक व्यक्ति है। उसने कहा कि मुझे खुशी है कि मैं जीवित हूं और मैं अपने देश वापस जाना चाहता हूं। मैं अधिकारियों से अपील करता हूं कि कृपया मुझे और अन्य भारतीयों को रिहा करवाएं। जय हिंद, जय भारत।

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