जबलपुर मेंप्रतिबंध का असर नहीं, रातभर कानफोड़ू बम फूटते रहे

जबलपुर (ईएमएस): दीवाली के मौके पर जबलपुर में कानफोड़ू बमों की गूंज से शहर का माहौल खराब हो गया। मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय के आदेशों और प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की गाइडलाइनों के बावजूद, रात 12 बजे के बाद भी 125 डेसिबल से अधिक के बमों का फूटना जारी रहा। इस दौरान शराब और जुए के प्रभाव में रहे युवाओं ने आतंक मचाए रखा।
हाईकोर्ट ने स्पष्ट निर्देश दिए थे कि रात 10:30 बजे के बाद आतिशबाजी पर पूर्ण प्रतिबंध है, लेकिन इसके बावजूद शहर में जश्न का माहौल बना रहा। कई स्थानों पर, विशेषकर संवेदनशील इलाकों में, तेज आवाज के पटाखों को लेकर विवाद भी देखने को मिले। पुलिस और जिला प्रशासन की ओर से कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई, जिससे आम जनता में असंतोष व्याप्त है।
प्रतिबंधित बमों की बिक्री और उपयोग में हो रही लापरवाही पर सवाल उठते हैं। प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने यह सुनिश्चित करने के लिए नियम बनाए थे कि 125 डेसिबल से अधिक के बमों की न बिक्री हो, न ही उनका इस्तेमाल किया जाए। इसके बावजूद, शहर में इन बमों की भरपूर बिक्री और धड़ल्ले से उपयोग जारी रहा।
स्थानीय निवासी इस स्थिति से काफी परेशान हैं और उन्होंने प्रशासन से सख्त कार्रवाई की मांग की है। कई लोगों का कहना है कि इस तरह की लापरवाही से न केवल शांति भंग हुई है, बल्कि यह स्वास्थ्य के लिए भी खतरनाक साबित हो सकता है।
इस घटनाक्रम से साफ है कि जबलपुर में दीवाली का जश्न मनाने के नाम पर शांति और सुरक्षा को पूरी तरह नजरअंदाज किया गया है। ऐसे में यह सवाल उठता है कि क्या प्रशासन इस तरह की गतिविधियों को नियंत्रित कर पाएगा या यह सिलसिला इसी तरह चलता रहेगा।