बिहार में उपचुनाव: बिहार में चार विधानसभा सीटों पर हो रहे उपचुनाव को 2025 में होने वाले विधानसभा चुनाव का “सेमीफाइनल” माना जा रहा है। इन सीटों पर राजग और महागठबंधन के बीच जोरदार मुकाबला देखने को मिलेगा। बिहार के चार विधानसभा क्षेत्रों—तरारी, रामगढ़, बेलागंज और इमामगंज (सु)—पर उपचुनाव हो रहे हैं। इनमें से तीन सीटों पर महागठबंधन का कब्जा है, जबकि इमामगंज (सु) सीट पर राजग का प्रभाव है।
महागठबंधन में शामिल भाकपा-माले तरारी, रामगढ़ और बेलागंज में चुनावी मैदान में है, जबकि इमामगंज पर हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (हम) का प्रभुत्व है। इन उपचुनावों में दोनों प्रमुख गठबंधनों ने पूरी ताकत झोंक दी है, और परिणाम 2025 के विधानसभा चुनाव के रुझान को प्रभावित कर सकते हैं।
तरारी सीट पर महागठबंधन के उम्मीदवार भाकपा-माले के राजू यादव और राजग के विशाल प्रशांत के बीच कांटे की टक्कर होगी। विशाल भाजपा के टिकट पर चुनावी मैदान में हैं और उनके सामने 10 उम्मीदवार हैं, जिनमें जनसुराज पार्टी की किरण सिंह भी मुकाबले में हैं।
बेलागंज सीट पर राजद के विश्वनाथ कुमार सिंह के लिए राजनीतिक सफर की शुरुआत हो रही है। यह सीट राजद के लिए एक मजबूत गढ़ मानी जाती है, लेकिन इस बार जनसुराज पार्टी और एआईएमआईएम जैसे दलों से चुनौतियां मिल रही हैं। इस सीट पर 14 उम्मीदवार मैदान में हैं, जिनमें जदयू की पूर्व विधान पार्षद मनोरमा देवी और जनसुराज पार्टी के मोहम्मद अमजद प्रमुख हैं।
रामगढ़ सीट पर राजद प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह का प्रभाव है। इस सीट पर उनके छोटे पुत्र अजीत कुमार सिंह की प्रतिष्ठा दांव पर लगी हुई है। यहां भाजपा के अशोक कुमार सिंह और जनसुराज पार्टी के सुशील कुमार सिंह से कड़ी प्रतिस्पर्धा मिल रही है।
इमामगंज सीट पर महागठबंधन और राजग के बीच सीधा मुकाबला है। यहां हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (हम) से दीपा मांझी और राजद से रौशन कुमार आमने-सामने हैं। राजद इस सीट पर अपनी खोई हुई प्रतिष्ठा को वापस हासिल करने की कोशिश कर रहा है, जबकि हम भी अपनी सीट बचाने के लिए पूरा जोर लगा रहे हैं।
इन उपचुनावों को लेकर यह साफ हो रहा है कि यह चुनाव 2025 के विधानसभा चुनाव के लिए एक महत्वपूर्ण संकेतक साबित हो सकते हैं।