अब सौरभ शर्मा को कांग्रेस की नैय्या पार लगाने की जिम्मेदारी
संघर्ष के दौर से गुजरती नगर कांग्रेस की नैय्या पार लगाने की जिम्मेदारी अब कांग्रेस नेता सौरभ शर्मा को दी गई है। प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी ने सौरभ शर्मा जबलपुर नगर का अध्यक्ष बनाया है। महापौर और नगर अध्यक्ष जगत बहादुर सिंह अन्नू के भाजपा में जाने के बाद से नगर अध्यक्ष का पद खाली था। तब से सौरभ शर्मा का नाम चर्चा में था। सौरभ को अध्यक्ष बनाए जाने की आधिकारिक घोषणा शनिवार को कर दी गई।
गौरतलब है कि सौरभ शर्मा की पहचान संघर्ष शील जुझारू नेता की है। बीते 10 सालों में जन समस्याओं को लेकर सौरभ शर्मा ने जितने आंदोलन अकेले किये हैं। उतने जबलपुर कांग्रेस के सभी नेताओं ने मिलकर भी नहीं किये हैं। बीते कुछ वर्षों से सौरभ बिजली विभाग की मनमानी के खिलाफ जनता की आवाज बनकर खड़े हैं। संघर्षशील सौरभ के आने से जबलपुर कांग्रेस नई उर्जा और नई जान आने की उम्मीद की जा रही है।
मुस्लिम क्षेत्रों में अच्छी क्षवि
आज की स्थिति में जबलपुर में कांग्रेस का अंतिम गढ़ मुस्लिम बाहुल्य क्षेत्र ही है। करीब 09 वार्डों में फैले मुस्लिम समाज में सौरभ नाटी शर्मा की क्षवि सकारात्मक है। यहां के कमोबेश सभी नेता सौरभ से परिचित हैं। वहीं इन क्षेत्रों की समस्याओं को लेकर सौरभ सक्रिय और गंभीर नजर आए हैं।
उनकी नियुक्ति पर हाजी कदीर सोनी, सैय्यद ताहिर अली, गुड्डू नबी उस्मानी, मतीन अंसारी, अख्तर सरदार, वकील अंसारी, आमीन कुरैशी, शमीम गुड्डू अंसारी, अशरफ मंसूरी, गुलाम हुसैन, राजू लईक, परवेज अख्तर, तौफीक चंकी खान, आसिफ इकबाल, तारिक अंसारी, शेख फारूख, निहाल मंसूरी, शादाब अंसारी (बरियातले) अफसर मंसूरी, इजहार आलम खान सहित मुस्लिम समाज में मौजूद कांग्रेस परिवार ने श्री सौरभ शर्मा को शुभकामनाएं दी हैं।
वरिष्ठ और युवाओं से तालमेल
सौरभ शर्मा को अनुभव और जोश के संतुलन की बेहतरीन मिसाल के तौर पर देखा जाता है। जबलपुर के वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं से जहां उनके अच्छे संबंध हैं। वहीं जबलपुर के युवा कांग्रेसियों के बीच उनकी लोकप्रीयता किसी से छिपी नहीं है। सौरभ वरिष्ठ कांग्रेस के अनुभव और युवा कांग्रेसजनों के जोश को साथ लेकर कांग्रेस को जबलपुर में नई जान डालने में सक्षम हैं।
सौरभ का बेहतरीन तालमेल
लोकसभा प्रत्याशी दिनेश यादव और नव नियुक्त नगर अध्यक्ष सौरभ शर्मा के बीच सोच, विचारधारा और कार्यशैली में बेहतरीन तालमेल बताया जाता है। जिसका सकारात्मक प्रभाव लोकसभा चुनाव के नतीजों पर दिखेगा। वहीं पूर्व विधानसभा के विधायक लखन घनघोरिया, पूर्व विधायक तरुण भनोत के साथ भी सौरभ का बेहतरीन तालमेल है। इनके अलावा भी कमोबेश हर गुट के साथ सौरभ एडजेस्ट हो जाते हैं। यह सभी चीजे नगर कांग्रेस के लिये फायदेमंद साबित होगी।