
गाजी नगर में रहने वाले आबिद अंसारी की परी गृहस्थी एक छटके में खम्त हो गई. उसकी बीवी शाहीन की मौत हो चुकी है. उसकी बेटी के दोनों पैर टूट चुके हैं वो अपाहिज हो चुकी है. जावेद खुद अस्पताल में भर्ती है, जिसका इलाज जारी है.
जावेद अंसारी गाजी नगर में किराए के मकान में रहते हैं. आबिद अंसारी बुधवार के दिन अपने घर में अपने परिवार के साथ सो रहे थे. सुबह तड़के करीब 4 बजे मकान का लेंटर भरभरा कर गिरा. जिसके बाद परिवार के सदस्य छत के मलबे में दब गए। इस मलबे में शाहीन परवीन की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि उसकी बेटी सना के दोनों पैरों में गंभीर चोटें आईं और पति आबिद अंसारी के सिर और पैर में गंभीर चोटें आईं। धमाके की आवाज सुनकर आस-पास के लोग मौके पर पहुंचे और मलबे में दबे परिवार को बाहर निकाला। इसके बाद, घायलों को तत्काल अस्पताल भेजा गया।

अस्पताल में पहुंचने पर डॉक्टरों ने शाहीन परवीन को मृत घोषित कर दिया गया। जबकी बेटी के दोनों पैर टूटे बताए जा रहे हैं. वहीं जावेद को गंभीर चोटे आईं हैं. गोहलपुर पुलिस ने मौके पर पहुंचकर पंचनामा कार्रवाई की और महिला के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। पुलिस ने हादसे के कारणों की जांच शुरू कर दी है। स्थानीय प्रशासन का कहना है कि इस हादसे की हर पहलू से जांच की जा रही है.

मकान मालिक भी जिम्मेदार, पीड़ित को मिले मुआवजा: ताहिर अली
क्षेत्र के पूर्व पार्षद सैय्यद ताहिर अली के अनुसार, जिस मकान का लेंटर गिरा, वह काफी पुराना और जर्जर हालत में था। बारिश के कारण इसकी हालत और खराब हो गई थी, लेकिन किसी ने इसकी मरम्मत पर ध्यान नहीं दिया। मकान मालिक से किराएदार द्वारा कई बार बोला गया, लेकिन कोई ध्यान नहीं दिया गया. नतीजा सामने है, एक बेगुनाह की मौत हो गई एक मासूम अपाहिज हो गई. इस मामले में नगर निगम प्रशासन भी जिम्मेदार है. जर्जर मकानों का निरीक्षण करना और आवश्यक कार्यवाही करना उसकी जिम्मेदारी है. लेकिन ऐसा नहीं किया गया.
श्री ताहिर अली ने मकान मालिक के उपर कार्यवाही की मांग की है. साथ ही जिला प्रशासन एवं मध्य प्रदेश शासन से पीड़ित परिवार को 5 लाख रुपये मुआवजा दिये जाने की मांग की है.