यूरोविज़न 2026 बिखर गया! इज़राइल के शामिल होते ही आयरलैंड–स्पेन–नीदरलैंड्स–स्लोवेनिया ने किया बॉयकॉट — और भी देश लाइन में

जिनेवा/वियना। यूरोविज़न सॉन्ग कॉन्टेस्ट 2026 इज़राइल की भागीदारी को लेकर सियासी तनाव के भंवर में फंस गया है। यूरोपियन ब्रॉडकास्टिंग यूनियन (EBU) की जनरल असेंबली में इज़राइल को प्रतियोगिता से बाहर करने पर किसी भी तरह का वोट न होने के बाद आयरलैंड, स्पेन, नीदरलैंड्स और स्लोवेनिया ने अगले वर्ष होने वाले इस मेगा कल्चरल इवेंट का बॉयकॉट घोषित कर दिया। यह वे देश हैं जिन्होंने गाज़ा में जारी मानवाधिकार संकट और नागरिक मौतों को लेकर इज़राइल को प्रतियोगिता से प्रतिबंधित करने की मांग की थी।
EBU ने वोट कराने से किया इनकार, देशों में नाराज़गी बढ़ी
EBU की जनरल असेंबली में गुरुवार को इज़राइल की भागीदारी पर औपचारिक वोटिंग की कोई प्रक्रिया नहीं की गई। संगठन ने बयान जारी कर कहा —
“ज़्यादातर सदस्यों का मानना था कि भागीदारी पर दोबारा वोट करवाने की आवश्यकता नहीं है। कॉन्टेस्ट 2026 निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार एक्स्ट्रा सेफ़गार्ड्स के साथ आयोजित होगा।”
इस निर्णय को कई देशों ने “अपर्याप्त”, “अविश्वसनीय” और “राजनीतिक दबाव में आया फैसला” बताया।
आयरलैंड: ‘गाज़ा में जान-माल की भारी क्षति के बीच भाग लेना गलत’
आयरिश ब्रॉडकास्टर RTÉ ने स्पष्ट कहा कि न तो वह कॉन्टेस्ट में हिस्सा लेगा और न ही इसे ब्रॉडकास्ट करेगा।
RTÉ ने बयान में कहा:
“गाजा में हो रही भारी तबाही, मानवीय संकट और नागरिकों की लगातार मौतें यह स्पष्ट करती हैं कि आयरलैंड का भाग लेना नैतिक रूप से गलत है।”
स्पेन: ‘EBU की प्रक्रिया संतोषजनक नहीं, भरोसा टूट गया’
स्पेनिश ब्रॉडकास्टर RTVE ने अपनी पुरानी चेतावनी पर अमल करते हुए घोषणा की कि:
- स्पेन 2026 यूरोविज़न में हिस्सा नहीं लेगा
- न ही फाइनल और न ही सेमीफाइनल का प्रसारण करेगा
- RTVE का कहना है कि EBU ने “सीक्रेट बैलेट” की मांग को जानबूझकर नज़रअंदाज़ किया
स्पेन के संस्कृति मंत्री अर्नेस्ट उर्टासुन ने RTVE के फैसले की सराहना करते हुए कहा:
“गाजा में हुए नरसंहार के बीच आप इज़राइल को व्हाइटवॉश नहीं कर सकते। संस्कृति को शांति और न्याय के साथ होना चाहिए।”
नीदरलैंड्स: ‘हमारे पब्लिक वैल्यूज़ के खिलाफ’
डच ब्रॉडकास्टर AVROTROS ने कहा कि वर्तमान परिस्थितियों में इज़राइल के साथ मंच साझा करना उनके सार्वजनिक मूल्यों के विपरीत है।
स्लोवेनिया: ‘20,000 बच्चों की मौतों की ओर से लिया गया निर्णय’
स्लोवेनिया के ब्रॉडकास्टर RTV Slovenia ने कहा:
“हमारी स्थिति नहीं बदली है। यह कदम गाज़ा में मारे गए 20,000 बच्चों की ओर से उठाया गया है। एक पब्लिक सर्विस ब्रॉडकास्टर के नाते हम समान नियम और नैतिक मानकों की अपेक्षा करते हैं।”
अन्य देश भी विचार में — आइसलैंड और बेल्जियम का फैसला लंबित
- आइसलैंड का RÚV, जो इज़राइल के बैन की मांग कर रहा था, अगले बुधवार को अपनी अंतिम स्थिति तय करेगा।
- बेल्जियम ने कहा कि वह “आने वाले दिनों में” अपना रुख सामने लाएगा।
यह संकेत है कि बॉयकॉट की सूची और भी लंबी हो सकती है।
EBU पर दोहरा मापदंड अपनाने का आरोप
आलोचकों का कहना है कि EBU ने 2022 में रूस को यूक्रेन पर हमले के बाद तत्काल प्रतियोगिता से बाहर कर दिया था, लेकिन गाज़ा में बड़े पैमाने पर नागरिक मौतों और लगातार सैन्य कार्रवाई के बावजूद इज़राइल के लिए वही मानक नहीं अपनाया।
RTVE के सेक्रेटरी-जनरल अल्फोंसो मोरालेस ने कहा:
“सीज़फायर और शांति प्रक्रिया के बावजूद, गाज़ा की स्थिति और इज़राइल द्वारा कॉन्टेस्ट का राजनीतिक इस्तेमाल यूरोविज़न को एक न्यूट्रल सांस्कृतिक इवेंट बनाए रखना मुश्किल कर रहा है।”
70,000 से अधिक मौतों की छाया में यूरोप का सबसे बड़ा सांस्कृतिक मंच
अंतरराष्ट्रीय एजेंसियों के अनुमान के अनुसार, अक्टूबर 2023 से अब तक गाज़ा में 70,000 से अधिक फ़िलिस्तीनी मारे जा चुके हैं।
इसी पृष्ठभूमि में यूरोविज़न में इज़राइल की भागीदारी पर भारी आपत्ति उठी है, जिसने 2024 और 2025 के संस्करणों को भी प्रभावित किया।
अब 2026 में यह विवाद अपनी चरम सीमा पर पहुंच चुका है — यूरोप का सबसे बड़ा सांस्कृतिक कार्यक्रम पहली बार इतने बड़े राजनीतिक विभाजन के खतरे में है।
यूरोविज़न का भविष्य संकट में?
अगर EBU कोई निर्णायक कदम नहीं उठाता, तो आशंका है कि:
- यूरोविज़न की एकता टूट सकती है
- कई देश प्रतियोगिता से स्थायी रूप से दूर हो सकते हैं
- और यह इवेंट अपनी सांस्कृतिक तटस्थता की छवि खो सकता है
आज स्थिति साफ है — कई ब्रॉडकास्टरों के लिए यूरोविज़न अब केवल गानों की प्रतियोगिता नहीं, बल्कि गाज़ा पर नैतिक स्टैंड लेने का मंच बन चुका है।



