गुजरात में मस्जिद, दरगाह और 500 साल पुराने कब्रिस्तान का विध्वंस, जमात-ए-इस्लामी हिंद का विरोध

जमात-ए-इस्लामी हिंद (JIH) के उपाध्यक्ष मलिक मोअतासिम खान ने गुजरात के गिर सोमनाथ जिले में एक मस्जिद, दरगाह और 500 साल पुराने कब्रिस्तान के विध्वंस की कड़ी निंदा की है। उन्होंने इसे एक गंभीर मसला बताया है।
मलिक खान ने कहा कि यह कार्रवाई सर्वोच्च न्यायालय के स्थगन आदेश का उल्लंघन है। 28 सितंबर की सुबह हुए इस विध्वंस को स्थानीय मुस्लिम समुदाय की भावनाओं के खिलाफ बताया गया है। उन्होंने कहा कि सिर्फ दस दिन पहले ही सर्वोच्च न्यायालय ने देशभर में सभी विध्वंस पर रोक लगाने का आदेश दिया था, जब तक अदालत से अनुमति न ली जाए।
मलिक खान ने यह भी कहा कि धार्मिक और ऐतिहासिक जगहों का विध्वंस एक संवेदनशील विषय है। इसे बिना उचित प्रक्रिया के नहीं किया जाना चाहिए। ऐसा करना न केवल न्याय का उल्लंघन है, बल्कि संविधान की भावना के खिलाफ भी है।
केंद्र सरकार से मांग
उन्होंने केंद्र सरकार से तत्काल कार्रवाई करने की अपील की, ताकि ऐसे विध्वंस और कानून के उल्लंघन को रोका जा सके। जमात-ए-इस्लामी हिंद ने इस कृत्य के लिए जिम्मेदारी की मांग की है और धार्मिक संरचना की बहाली की मांग की है। उन्होंने आशा व्यक्त की कि भारत में सभी समुदायों के अधिकारों का सम्मान किया जाएगा।